न्यूज डेस्क, नेशनलव्हील्स
प्रयागराज के फूलपुर लोकसभा क्षेत्र में स्थित दयालपुर रेलवे स्टेशन को बचाने के लिए आसपास के ग्रामीणों को लोकसभा चुनाव का बहिष्कार सहारे के रूप में दिख रहा है. उत्तर रेलवे के प्रयागराज-प्रतापगढ़ सेक्शन में पड़ने वाला यह हॉल्ट स्टेशन अब पूरी तरह बंदी की कगार पर है. वर्तमान में यहां सरयू एक्सप्रेस, फैजाबाद-प्रयागघाट की दो जोड़ी पैसेंजर, प्रयागघाट-लखनऊ पैसेंजर जैसी ट्रेनें रुकती हैं लेकिन ग्रामीणों को अंदेशा है कि हॉल्ट की सुविधा भी बंद होने से ट्रेनों का ठहराव भी बंद हो सकता है. इसे लेकर आसपास के ग्रामीण सशंकित हैं.
ग्रामीण लोकसभा चुनाव के दौरान दयालपुर रेलवे स्टेशन को क्षेत्र का मुद्दा बनाना चाहते हैं. शनिवार को तीन गांवों के करीब 150 लोगों ने स्टेशन पहुंचकर अपनी मांगों को उठाने की कोशिश की लेकिन उनकी सुनने वाला कोई नहीं था. दयालपुर के शरीफ खान और रफीक का कहना है कि पूर्व में यह ई श्रेणी का स्टेशन था. बाद में रेलवे ने टिकटों की बिक्री कम होने का दावा करते हुए ई श्रेणी का स्टेशन खत्म कर इसे हॉल्ट के रूप में बदल दिया. साथ ही इसे ठेके पर दे दिया गया. अब ट्रेन तो रुकती है लेकिन टिकट नहीं बिकता.
ग्रामीणों का दावा है कि इस मुद्दे को स्थानीय विधायक और पिछले कई सांसदों के सामने उठाया गया लेकिन किसी ने इस मुद्दे को पुरजोर तरीके से नहीं उठाया. बताते हैं कि करीब 15 गांवों के लोग शहर जाने और शहर से वापसी के लिए दयालपुर से ही ट्रेन पकड़ते हैं. सुबह और शाम को सरयू एक्सप्रेस से बड़ी संख्या में दैनिक यात्री भी चलते हैं. अन्य पैसेंजर ट्रेनों से भी आसपास के गांवों के लोगों का आना-जाना होता है.
स्टेशन को बचाने के लिए रविवार को ग्रामीणों ने महापंचायत बुलाई है जो स्टेशन परिसर में ही आयोजित की जानी है. इसमें बड़ी संख्या में लोग जुट सकते हैं. ग्रामीणों ने इसके लिए गांवों में जागरूकता कार्यक्रम भी चलाया है. पत्रकार मनीष शुक्ल का कहना है कि ग्रामीण लोकसभा चुनाव बहिष्कार का फैसला कर सकते हैं. यह स्टेशन सोरांव तहसील से करीब आठ किमी की दूरी पर सेवइत और मऊआइमा स्टेशनों के मध्य में है.
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